जकर्याह 12:1-7 HHBD

1 इस्राएल के विषय में यहोवा का कहा हुआ भारी वचन: यहोवा को आकाश का तानने वाला, पृथ्वी की नेव डालने वाला और मनुष्य की आत्मा का रचने वाला है, उसकी यह वाणी है,

2 देखो, मैं यरूशलेम को चारों ओर की सब जातियों के लिये लड़खड़ा देने के मद का कटोरा ठहरा दूंगा; और जब यरूशलेम घेर लिया जाएगा तब यहूदा की दशा भी ऐसी ही होगी।

3 और उस समय पृथ्वी की सारी जातियां यरूशलेम के विरुद्ध इकट्ठी होंगी, तब मैं उसको इतना भारी पत्थर बनाऊंगा, कि जो उसको उठाएंगे वे बहुत ही घायल होंगे।

4 यहोवा की यह वाणी है, उस समय मैं हर एक घोड़े को घबरा दूंगा, और उसके सवार को घायल करूंगा। परन्तु मैं यहूदा के घराने पर कृपादृष्टि रखूंगा, जब मैं अन्यजातियों के सब घोड़ों को अन्धा कर डालूंगा।

5 तब यहूदा के अधिपति सोचेंगे कि यरूशलेम के निवासी अपने परमेश्वर, सेनाओं के यहोवा की सहायता से मेरे सहायक बनेंगे॥

6 उस समय मैं यहूदा के अधिपतियों को ऐसा कर दूंगा, जैसी लकड़ी के ढेर में आग भरी अंगेठी वा पूले में जलती हुई मशाल होती है, अर्थात वे दाहिने बांए चारों ओर के सब लोगों को भस्म कर डालेंगे; और यरूशलेम जहां अब बसी है, वहीं बसी रहेगी, यरूशलेम में॥

7 और हे यहोवा पहिले यहूदा के तम्बुओं का उद्धार करेगा, कहीं ऐसा न हो कि दाऊद का घराना और यरूशलेम के निवासी अपने अपने वैभव के कारण यहूदा के विरुद्ध बड़ाई मारें।