2 तब मूसा के ससुर यित्रो मूसा की पत्नी सिप्पोरा को, जो पहिले नैहर भेज दी गई थी,
3 और उसके दोनों बेटों को भी ले आया; इन में से एक का नाम मूसा ने यह कहकर गेर्शोम रखा था, कि मैं अन्य देश में परदेशी हुआ हूं।
4 और दूसरे का नाम उसने यह कहकर एलीएजेर रखा, कि मेरे पिता के परमेश्वर ने मेरा सहायक हो कर मुझे फिरौन की तलवार से बचाया।
5 मूसा की पत्नी और पुत्रों को उसका ससुर यित्रो संग लिए मूसा के पास जंगल के उस स्थान में आया, जहां परमेश्वर के पर्वत के पास उसका डेरा पड़ा था।
6 और आकर उसने मूसा के पास यह कहला भेजा, कि मैं तेरा ससुर यित्रो हूं, और दोनो बेटों समेत तेरी पत्नी को तेरे पास ले आया हूं।
7 तब मूसा अपने ससुर से भेंट करने के लिये निकला, और उसको दण्डवत करके चूमा; और वे परस्पर कुशल क्षेम पूछते हुए डेरे पर आ गए।
8 वहां मूसा ने अपने ससुर से वर्णन किया, कि यहोवा ने इस्त्राएलियों के निमित्त फिरौन और मिस्रियों से क्या क्या किया, और इस्त्राएलियों ने मार्ग में क्या क्या कष्ट उठाया, फिर यहोवा उन्हें कैसे कैसे छुड़ाता आया है।