निर्गमन 32:15-21 HHBD

15 तब मूसा फिरकर साक्षी की दानों तख्तियों को हाथ में लिये हुए पहाड़ से उतर गया, उन तख्तियों के तो इधर और उधर दोनों अलंगों पर कुछ लिखा हुआ था।

16 और वे तख्तियां परमेश्वर की बनाईं हुई थीं, और उन पर जो खोदकर लिखा हुआ था वह परमेश्वर का लिखा हुआ था॥

17 जब यहोशू को लोगों के कोलाहल का शब्द सुनाईं पड़ा, तब उसने मूसा से कहा, छावनी से लड़ाई का सा शब्द सुनाईं देता है।

18 उसने कहा, वह जो शब्द है वह न तो जीतने वालों का है, और न हारने वालों का, मुझे तो गाने का शब्द सुन पड़ता है।

19 छावनी के पास आते ही मूसा को वह बछड़ा और नाचना देख पड़ा, तब मूसा का कोप भड़क उठा, और उसने तख्तियों को अपने हाथों से पर्वत के नीचे पटककर तोड़ डाला।

20 तब उसने उनके बनाए हुए बछड़े को ले कर आग में डालके फूंक दिया। और पीसकर चूर चूर कर डाला, और जल के ऊपर फेंक दिया, और इस्त्राएलियों को उसे पिलवा दिया।

21 तब मूसा हारून से कहने लगा, उन लोगों ने तुझ से क्या किया कि तू ने उन को इतने बड़े पाप में फंसाया?