निर्गमन 38:1-7 HHBD

1 फिर उसने बबूल की लकड़ी की होमवेदी भी बनाई; उसकी लम्बाई पांच हाथ और चौड़ाई पांच हाथ की थी; इस प्रकार से वह चौकोर बनी, और ऊंचाई तीन हाथ की थी।

2 और उसने उसके चारों कोनों पर उसके चार सींग बनाए, वे उसके साथ बिना जोड़ के बने; और उसने उसको पीतल से मढ़ा।

3 और उसने वेदी का सारा सामान, अर्थात उसकी हांडिय़ों, फावडिय़ों, कटोरों, कांटों, और करछों को बनाया। उसका सारा सामान उसने पीतल का बनाया।

4 और वेदी के लिये उसके चारों ओर की कंगनी के तले उसने पीतल की जाली की एक झंझरी बनाईं, वह नीचे से वेदी की ऊंचाई के मध्य तक पहुंची।

5 और उसने पीतल की झंझरी के चारों कोनों के लिये चार कड़े ढाले, जो डण्डों के खानों का काम दें।

6 फिर उसने डण्डों को बबूल की लकड़ी का बनाया, और पीतल से मढ़ा।

7 तब उसने डण्डों को वेदी की अलंगों के कड़ों में वेदी के उठाने के लिये डाल दिया। वेदी को उसने तख्तों से खोखली बनाया॥