यशायाह 10:5-11 HHBD

5 अश्शूर पर हाय, जो मेरे क्रोध का लठ और मेरे हाथ में का सोंटा है! वह मेरा क्रोध है।

6 मैं उसको एक भक्तिहीन जाति के विरुद्ध भेजूंगा, और जिन लोगों पर मेरा रोष भड़का है उनके विरुद्ध उसको आज्ञा दूंगा कि छीन छान करे और लूट ले, और उन को सड़कों की कीच के समान लताड़े।

7 परन्तु उसकी ऐसी मनसा न होगी, न उसके मन में ऐसा विचार है; क्योंकि उसके मन में यही है कि मैं बहुत सी जातियों का नाश और अन्त कर डालूं।

8 क्योंकि वह कहता है, क्या मेरे सब हाकिम राजा के तुल्य नहीं है?

9 क्या कलनो कर्कमीश के समान नहीं है? क्या हमात अर्पद के और शोमरोन दमिश्क के समान नहीं?

10 जिस प्रकार मेरा हाथ मूरतों से भरे हुए उन राज्यों पर पहुंचा जिनकी मूरतें यरूशलेम और शोमरोन की मूरतों से बढ़कर थीं, और जिस प्रकार मैं ने शोमरोन और उसकी मूरतों से किया,

11 क्या उसी प्रकार मैं यरूशलेम से और उसकी मूरतों से भी न करूं?