यिर्मयाह 16:1-7 HHBD

1 यहोवा का यह वचन मेरे पास पहुंचा,

2 इस स्थान में विवाह कर के बेटे-बेटियां मत जन्मा।

3 क्योंकि जो बेटे-बेटियां इस स्थान में उत्पन्न हों और जो माताएं उन्हें जनें और जो पिता उन्हें इस देश में जन्माएं,

4 उनके विषय यहोवा यों कहता है, वे बुरी बुरी बीमारियों से मरेंगे। उनके लिये कोई छाती न पीटेगा, न उन को मिट्टी देगा; वे भूमि के ऊपर खाद की नाईं पड़े रहेंगे। वे तलवार और महंगी से मर मिटेंगे, और उनकी लोथें आकाश के पक्षियों और मैदान के पशुओं का आहार होंगी।

5 यहोवा ने कहा, जिस घर में रोना पीटना हो उस में न जाना, न छाती पीटने के लिये कहीं जाना और न इन लोगों के लिये शोक करना; क्योंकि यहोवा की यह वाणी है कि मैं ने अपनी शान्ति और करुणा और दया इन लोगों पर से उठा ली है।

6 इस कारण इस देश के छोटे-बड़े सब मरेंगे, न तो इन को मिट्टी दी जाएगी, न लोग छाती पीटेंगे, न अपना शरीर चीरेंगे, और न सिर मुंड़ाएंगे। इनके लिये कोई शोक करने वालों को रोटी न बाटेंगे कि शोक में उन्हें शान्ति दें;

7 और न लोग पिता वा माता के मरने पर किसी को शान्ति के लिये कटोरे में दाखमधु पिलाएंगे।