15 इस्राएल का परमेश्वर सेनाओं का यहोवा यों कहता है, कि यदि तुम सचमुच मिस्र की ओर जाने का मुंह करो, और वहां रहने के लिये जाओ,
16 तो ऐसा होगा कि जिस तलवार से तुम डरते हो, वही वहां मिस्र देश में तुम को जा लेगी, और जिस महंगी का भय तुम खाते हो, वह मिस्र में तुम्हारा पीछा न छोड़ेगी; और वहीं तुम मरोगे।
17 जितने मनुष्य मिस्र में रहने के लिये उसकी ओर मुंह करें, वे सब तलवार, महंगी और मरी से मरेंगे, और जो विपत्ति मैं उनके बीच डालूंगा, उस से कोई बचा न रहेगा।
18 इस्राएल का परमेश्वर सेनाओं का यहोवा यों कहता है, कि जिस प्रकार से मेरा कोप और जलजलाहट यरूशलेम के निवासियों पर भड़क उठी थी, उसी प्रकार से यदि तुम मिस्र में जाओ, तो मेरी जलजलाहट तुम्हारे ऊपर ऐसी भड़क उठेगी कि लोग चकित होंगे, और तुम्हारी उपमा देकर शाप दिया करेंगे और तुम्हारी निन्दा किया करेंगे। तुम उस स्थान को फिर न देखने पाओगे।
19 हे बचे हुए यहूदियो, यहोवा ने तुम्हारे विषय में कहा है, मिस्र में मत जाओ। तुम निश्चय जानो कि मैं ने आज तुम को चिताकर यह बात बता दी है।
20 क्योंकि जब तुम ने मुझ को यह कह कर अपने परमेश्वर यहोवा के पास भेज दिया कि हमारे निमित्त हमारे परमेश्वर यहोवा से प्रार्थना कर और जो कुछ हमारा परमेश्वर यहोवा कहे उसी के अनुसार हम को बता और हम वैसा ही करेंगे, तब तुम जान बूझ के अपने ही को धोखा देते थे।
21 देखो, मैं आज तुम को बताए देता हूं, परन्तु, और जो कुछ तुम्हारे परमेश्वर यहोवा ने तुम से कहने के लिये मुझ को भेजा है, उस में से तुम कोई बात नहीं मानते।