17 क्योंकि लबानोन में तेरा किया हुआ उपद्रव और वहां के पशुओं पर तेरा किया हुआ उत्पात, जिन से वे भयभीत हो गए थे, तुझी पर आ पड़ेंगे। यह मनुष्यों की हत्या और उस उपद्रव के कारण होगा, जो इस देश और राजधानी और इसके सब रहने वालों पर किया गया है॥
18 खुदी हुई मूरत में क्या लाभ देख कर बनाने वाले ने उसे खोदा है? फिर झूठ सिखाने वाली और ढली हुई मूरत में क्या लाभ देख कर ढालने वाले ने उस पर इतना भरोसा रखा है कि न बोलने वाली और निकम्मी मूरत बनाए?
19 हाय उस पर जो काठ से कहता है, जाग, वा अबोल पत्थर से, उठ! क्या वह सिखाएगा? देखो, वह सोने चान्दी में मढ़ा हुआ है, परन्तु उस में आत्मा नहीं है॥
20 परन्तु यहोवा अपने पवित्र मन्दिर में है; समस्त पृथ्वी उसके साम्हने शान्त रहे॥